'वायु वीर' राफेल Airforce में शामिल, राजनाथ ने इंडिया के दुश्मनों को दी चेतावनी

राफेल गुरुवार को विधिवत रूप से इंडियन एयरफोर्स में शामिल हो गया। अंबाला एयरबेस पर आयोजित समारोह के दौरान राफेल, तेजस, सुखोई और जगुआर विमान एयर शो में शानदार करतब दिखाए। डिफेंस मिनिस्टर राजनाथ सिंह पांच राफेल विमानों को वायुसेना में औपचारिक रूप से शामिल किया।  

'वायु वीर' राफेल Airforce में शामिल, राजनाथ ने इंडिया के दुश्मनों को दी चेतावनी

अंबाला। राफेल गुरुवार को विधिवत रूप से इंडियन एयरफोर्स में शामिल हो गया। अंबाला एयरबेस पर आयोजित समारोह के दौरान राफेल, तेजस, सुखोई और जगुआर विमान एयर शो में शानदार करतब दिखाए। डिफेंस मिनिस्टर राजनाथ सिंह पांच राफेल विमानों को वायुसेना में औपचारिक रूप से शामिल किया।  

इस अवसर पर आयोजित समारोह में डिफेंस मिनिस्टर राजनाथ सिंह ने कहा कि यह भारत की सीमा पर नजर रखने वालों और इंडियाके दुश्ममनों के लिए बड़ी और कड़ी चेतावनी है। राफेल के शामिल होने से इंडियन एयरफोर्स की ताकत और बढ़ गई है। उन्होंने फ्रांस के साथ इंडिया के बीच रक्षा सहयोग के मजबूती की भी चर्चा की। उन्होंने कहा कि हमारी सीमाओं पर जिस तरह का माहौल बना है उसमें राफेल का वायुसेना में शामिल होना बेहद अहम है।मैं आज भारतीय वायुसेना के अपने सहयोगियों को बधाई देना चाहता हूं। सीमा खासकर एलएसी (LAC) पर हाल ही में हुई दुर्भाग्यपूर्ण घटना के दौरान भारतीय वायु सेना द्वारा की गई तेज कार्रवाई आपकी प्रतिबद्धता दिखाती है।

डिफेंस मिनिस्टर ने राजनाथ सिंह ने फ्रांस के साथ रक्षा सहयोग के बारे में चर्चा की और रक्षा क्षेत्र में निवेश व सहयोग-समन्वय के लिए भी उन्हों ने निमंत्रण दिया। राजनाथ सिंह ने इंडियन एयरफोर्स के विभिन्न युद्धों में शानदार प्रदर्शन का उल्लेेख भी किया। समारोह को रक्षामंत्री फ्लारेंस पार्ले ने भी संबोधित किया। उन्हों ने भारत और फ्रांस के बीच रक्षा सहयोग का उल्लेेख किया। उन्होंने उम्मीोद जताई की यह और मजबूत होगा।

एयर शो के बाद राफेल को एयरफोर्स में शामिल करने के औपचारिक कार्यक्रम की शुरूआत हुई है। एयरफोर्स चीफ आरकेएस भदौरिया संबोधित किया और राफेल विमानों का स्वाएगत किया।सर्वधर्म पूजा-प्रार्थना के साथ समारोह का आगाज हुआ। एयर शो की शुरूआत सुखोई विमानों से हुई। एयर शो में राफेल के साथ तेजस, जगुआर विमान भी शामिल थे। इस अवसर पर राफेल विमानों को वाटर सैल्यूरट दिया गया। वाटर विमानों को वाटर कैनन से वाटर सैल्यूटट दिया गया। इसके बाद पांचों राफेल विमानों के पायलटों ने डिफेंस मिनिस्टर राजनाथ सिंह को सलामी दी। एयर शो के अंत में सारंग हेलीकाप्टोरों ने रंगारंग करतब दिखाये। 

राफेल विमान फ्रांस से 29 जुलाई को अंबाला एयरबेस पहुंचे थे।आज राफेल विमान वायुसेना के 17 स्क्वाड्रन 'गोल्डन एरो' का हिस्साा बना।  
कार्यक्रम में चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल बिपिन रावत, एयरफोर्स चीफ आरकेएस भदौरिया, रक्षा सचिव डा. अजय कुमार, डा. जी सतीश रेड्डी सेक्रेटरी डिपार्टमेंट आफ डिफेंस आर एंड डी एवं चेयरमैन डीआरडीओ सहित फ्रांस के राजदूत इमैनुअल लीनेन, एयर जनरल एरिक ऑटेलेट, दसॉ एविएशन के चेयरमैन व चीफ एग्जीक्यूटिव एरिक ट्रैपियर, एरिक बेरेंजर सीईओ एमबीडीए मौजूद हैं।
टीम इंडिया के एक्स कैप्टन महेंद्र सिंह ने दी बधाई

टीम इंडिया के एक्स कैप्टन महेंद्र सिंह ने भी रापेळ के एयरफोर्स में शामिल होने पर खुशी जाहिर करते हुए बधाई दी है।धोनी ने ट्वीट कर कहा कि, ''वायु सेना के गोल्डन एरो स्क्वाड्रन में राफेल के शामिल होने पर बधाई। हम उम्मीद करते हैं कि राफेल मिराज-2000 को पीछे छोड़ देगा लेकिन सुखोई मेरा अब भी पसंदीदा है। और अब जवानों को डॉगफाइट के लिए एक और नया लक्ष्य मिल गया है।''धोनी ने एक और ट्वीट कर लिखा, “जंग में खुद को साबित कर चुके दुनिया के सर्वश्रेष्ठ 4.5 जनरेशन के लड़ाकू विमानों के शामिल होने के साथ ही इन्हें दुनिया के सबसे बेहतरीन फाइटर पायलट भी मिल गये हैं। हमारे काबिल पायलटों के हाथों और भारतीय वायु सेना के अलग-अलग विमानों के बीच इस विमान की ताकत और ज्यादा बढ़ेगी।

राफेल की ताकत और विशेषताएं

राफेल लड़ाकू विमान बेहद अत्याधुनिक और शक्तिशाली है। इंडियन एयरफोर्स  की टुकड़ी में शामिल होने से इसकी ताकत में और भी अधिक इजाफा हो गया। इसमें उन्नत हथियार, उच्च तकनीक सेंसर, लक्ष्य का पता लगाने और ट्रैकिंग के लिए बेहतर रडार और प्रभावशाली पेलोड ले जाने की क्षमता है।राफेल 4.5वीं पीढ़ी का विमान है, जिसमें राडार से बच निकलने की युक्ति है। इससे आईएएफ में आमूलचूल बदलाव होगा, क्योंकि वायुसेना के पास अब तक के विमान मिराज-2000 और सुखोई-30 एमकेआई या तो तीसरी पीढ़ी या चौथी पीढ़ी के विमान हैं।  
राफेल की अधिकतम स्पीड 2,130 किमी/घंटा है और इसकी मारक क्षमता 3700 किमी. तक है। राफेल में बहुत ऊंचाई वाले एयरबेस से भी उड़ान भरने की क्षमता है। लेह जैसी जगहों और काफी ठंडे मौसम में भी लड़ाकू विमान तेजी से काम कर सकता है।
राफल 24,500 किलो उठाकर ले जाने में सक्षम है और 60 घंटे अतिरिक्त उड़ान की गारंटी भी है। राफेल विमान दो इंजनों वाला बहुउद्देश्यीय लड़ाकू विमान है। यह लड़ाकू विमान परमाणु आयुध का इस्तेमाल करने में सक्षम है।यह हवा से  हवा में और हवा से जमीन पर हमले कर सकता है। राफेल हवा से जमीन पर मार वाली स्कैल्प मिसाइल है।ल्प मिसाइल की रेंज 300 किमी, हथियारों के स्टोरेज के लिए 6 महीने की गारंटी है।
राफेल अत्याधुनिक हथियारों से लैस होने वाला लड़ाकू विमा है। इस जेट के साथ मेटेअर मिसाइल भी है।1 मिनट में 60,000 फ़ुट की ऊंचाई और 4.5 जेनरेशन के ट्विन इंजन से लैसल है।
 पाकिस्तान और चीन के फाइटर प्लेन से भी बेहतर 

पाकिस्तान का एफ-16 राफेल के सामने कुछ भी नहीं है। राफेल के सामने पाकिस्तान को अपने दो-तीन एफ-16 लड़ाकू विमान लगाने पड़ेंगे। रक्षा विशेषज्ञों का कहना है कि वायु सेना के बेड़े में राफेल विमानों को शामिल किया जाना भारत के लिए महत्वपूर्ण है क्योंकि ऐसी दक्षता और बेजोड़ इलेक्ट्रॉनिक युद्धक प्रणाली वाला विमान पड़ोस में किसी भी देश के पास नहीं है।  इसके अलावा, चीन के लड़ाकू विमान जे-20 से भी राफेल काफी आगे है। रक्षा विशेषज्ञ लक्ष्मण बेहेरा ने कहा कि इसकी तुलना राफेल से नहीं की जा सकती क्योंकि फ्रांस निर्मित राफेल विमान चीनी लड़ाकू विमान की तुलना में ज्यादा दक्ष है।