बिहार: स्टेट में 2603 कोरोना पॉजिटिव मिले, संक्रमण रेट अब दो परसेंट से भी कम, पटना एम्स के जूनियर रेजिडेंट की मौत
बिहार में कोरोना की रफ्तार धीमी पड़ गयी है। संक्रमण रेट दो परसेंट से नीचे पहुंच गयी है। स्टेट में बुधवार को लगभग 1.32 लाख के करीब कोविड टेस्ट में 2603 संक्रमित मिले।
पटना। बिहार में कोरोना की रफ्तार धीमी पड़ गयी है। संक्रमण रेट दो परसेंट से नीचे पहुंच गयी है। स्टेट में बुधवार को लगभग 1.32 लाख के करीब कोविड टेस्ट में 2603 संक्रमित मिले।
राजधानी पटना में भी गिर रहा संक्रमण का ग्राफ
दूसरी लहर में लगभग 48 दिन बाद बिहार में संक्रमण रेट दो परसेंट के नीचे आई है। पटना जिले में भी संक्रमण का ग्राफ तेजी से नीचे आ रहा है। जिले में आज 316 नये पॉजिटिव मिले। पटना एम्स के जूनियर रेजिडेंट डॉ. प्रदीप कुमार(32) का मंगलवार की रात कोरोना से निधन हो गया है।
स्टेट प्रत्येक जिले में कोरोना संक्रमण के नये मामलों में कमी आ रही है। 29 जिले ऐसे हैं जहां से रोज सौ से भी कम संक्रमित मिल रहे हैं। सिर्फ नौ जिले ऐसे हैं जहां सौ से ज्यादा संक्रमित मिल रहे हैं। इन जिलों से अकेले 1379 पॉजिटिव मिले हैं। इनमें पटना से 316 के अलावा बेगूसराय से 177, दरभंगा से 117, मुजफ्फरपुर से 137, नालंदा से 170, समस्तीपुर से 123, पूर्णिया 115, सुपौल से107 और वैशाली से 117 पॉजिटिव मिले हैं।
पटना एम्स के जूनियर रेजिडेंट डॉ. प्रदीप का निधन
पटना एम्स के जूनियर रेजिडेंट डॉ. प्रदीप कुमार(32) का मंगलवार की रात कोरोना से निधन हो गया है। वे हॉस्पीटल में कोविड ड्यूटी कर रहे थे। संक्रमित होने के बाद वे पिछले एक महीने से एम्स में भर्ती थे। वे यूरोलॉजी विभाग में पीजी कर रहे थे। पटना एम्स के 102 डॉक्टर्स में से प्रदीप पहले ऐसे डॉक्टर हैं, जिनका कोरोना की दूसरी लहर में निधन हुआ है।बिहार के इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आईएमए) के सीनीयर उपाध्यक्ष डॉ अजय कुमार ने कहा कि राज्य में अब तक 140 से अधिक डॉक्टरों की मौत हो चुकी है। मृतक डॉ. प्रदीप शिवहर जिले के रहने वाले थे। उन्होंने पटना के नालंदा मेडिकल कॉलेज हॉस्पिटल से एमबीबीएस किया था। उन्हें 27 अप्रैल को एम्स में एडमिट किया गया था। इसके अगले ही दिन आईसीयू में भर्ती किया गया था। इसके बाद उन्हें वेंटिलेटर पर रखा गया।
पटना एम्स के रेजीडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन के डॉ. विजय कुमार ने कहा, डॉ. कुमार के पिता का पिछले साल निधन हो गया था।र वे अपने परिवार में अकेले कमाने वाले थे। हम राज्य सरकार के साथ-साथ एम्स अफसरों से उनके दो भाइयों में से किसी एक को मुआवजा और नौकरी देने का अनुरोध करते हैं।उन्होंने कोविड-19 के खिलाफ युद्ध में अपने जीवन का बलिदान किया है।आईएमए, बिहार के वरीय उपाध्यक्ष डॉ. अजय कुमार ने डॉ. प्रदीप के निधन पर शोक जताया। उन्होंने कहा कि डॉ. प्रदीप बहुत ही होनहार थे। दुर्भाग्यपूर्ण है कि उन्होंने अभी तक टीका नहीं लिया था। एक साल पूर्व डॉ. प्रदीप के पिता का भी निधन कोरोना संक्रमण के कारण हुआ था। राज्य के जूनियर डॉक्टर एसोसिएशन ने भी डॉ. प्रदीप के निधन पर शोक जताया।