“भारत को अपनी विकास की राह खुद तय करनी होगी” – IIT ISM धनबाद में गौतम अदाणी का बड़ा संदेश

IIT (ISM) धनबाद के शताब्दी समारोह में गौतम अदाणी का बड़ा बयान—भारत को अपनी विकास की राह खुद तय करनी होगी। ‘नैरेटिव कॉलोनाइजेशन’ से सतर्क रहने की चेतावनी, छात्रों के लिए पेड इंटर्नशिप और हाईटेक माइनिंग सेंटर की घोषणा।

“भारत को अपनी विकास की राह खुद तय करनी होगी” – IIT ISM धनबाद में गौतम अदाणी का बड़ा संदेश
शताब्दी समारोह में गौतम अदाणी।
  • ‘नैरेटिव कॉलोनाइजेशन’ से सावधान रहने की दी चेतावनी
  • छात्रों के लिए पेड इंटर्नशिप और हाईटेक माइनिंग सेंटर की घोषणा

धनबाद। आईआईटी (आईएसएम) धनबाद के शताब्दी समारोह के ऐतिहासिक मौके पर अदाणी ग्रुप के चेयरमैन गौतम अदाणी मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। इस अवसर पर उन्होंने देश के विकास मॉडल, ऊर्जा सुरक्षा, संसाधन आत्मनिर्भरता और वैश्विक दबावों पर खुलकर अपनी बात रखी।

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अपने संबोधन में गौतम अदाणी ने कहा कि आज का वैश्विक परिदृश्य तेजी से बदल रहा है। उन्होंने कहा, “जब वैश्विक गठबंधन टूट रहे हैं और हर देश अपने हितों को प्राथमिकता दे रहा है, ऐसे समय में भारत को अपनी विकास की राह खुद तय करनी होगी।” उन्होंने जोर देते हुए कहा कि भारत की संप्रभुता अब केवल कूटनीति पर नहीं, बल्कि दो मजबूत स्तंभों पर टिकी है— “हमारे पैरों के नीचे मौजूद प्राकृतिक संसाधन और वह ऊर्जा जो हमारे विकास को गति देती है।”

 ‘नैरेटिव कॉलोनाइजेशन’ से सतर्क रहने की अपील

गौतम अदाणी ने अपने भाषण में “नैरेटिव कॉलोनाइजेशन” को लेकर भी गंभीर चेतावनी दी। उन्होंने कहा, “जिन देशों ने दशकों तक सबसे ज्यादा कार्बन उत्सर्जन किया, वही देश आज भारत को यह सिखाने में लगे हैं कि उसे कैसे विकसित होना चाहिए।” उन्होंने यह भी कहा कि भारत की प्रति व्यक्ति कार्बन उत्सर्जन दर आज भी दुनिया में सबसे कम है, इसके बावजूद विकास की राह में बाधाएं खड़ी की जा रही हैं। उन्होंने इसे भारत के लिए “दूसरा स्वतंत्रता संग्राम” बताते हुए कहा कि देश को बाहरी दबावों के आगे झुकने की जरूरत नहीं है।

 खनन और नई अर्थव्यवस्था पर बड़ा बयान

गौतम अदाणी ने कहा कि कुछ लोग खनन को पुरानी अर्थव्यवस्था मानते हैं, लेकिन सच्चाई यह है कि “खनन के बिना कोई नई अर्थव्यवस्था संभव नहीं है।” उन्होंने इसे भारत की औद्योगिक और ऊर्जा सुरक्षा की रीढ़ बताया।

IIT (ISM) धनबाद की ऐतिहासिक भूमिका की सराहना

गौतम अदाणी ने आईआईटी (आईएसएम) धनबाद के गौरवशाली इतिहास की भी सराहना की। उन्होंने कहा कि “इस संस्थान की स्थापना भारत की दूरदृष्टि का परिणाम थी। ब्रिटिश शासन के दौरान भी भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस ने इसकी सिफारिश की थी, ताकि भारत खनन और भूविज्ञान में आत्मनिर्भर बन सके।” उन्होंने अदाणी ग्रुप की वैश्विक ऊर्जा परिवर्तन में भूमिका का भी जिक्र किया— ऑस्ट्रेलिया के कारमाइकल प्रोजेक्ट से लेकर गुजरात के खावड़ा में विश्व के सबसे बड़े रिन्यूएबल एनर्जी पार्क तक की उपलब्धियां गिनाईं।

छात्रों के लिए बड़ा तोहफा: हाईटेक माइनिंग सेंटर और पेड इंटर्नशिप

इस मौके पर गौतम अदाणी ने आईआईटी (आईएसएम) धनबाद के लिए एक बड़ी सौगात की घोषणा की—

 ‘अदाणी 3S माइनिंग एक्सीलेंस सेंटर’

TEXMiN के साथ साझेदारी

मेटावर्स लैब

ड्रोन बेड़ा

भूकंपीय सेंसिंग सिस्टम

सटीक और स्मार्ट माइनिंग टेक्नोलॉजी

पेड इंटर्नशिप योजना

हर साल तीसरे वर्ष के 50 छात्रों को पेड इंटर्नशिप

इनमें से कम से कम 25% छात्रों को अदाणी ग्रुप में प्री-प्लेसमेंट ऑफर

छात्रों को संबोधित करते हुए गौतम अदाणी ने कहा— “निर्भीक होकर सपने देखें, लगातार प्रयास करें, इनोवेशन को अपनाएं और आत्मनिर्भर भारत के निर्माण में अपना योगदान दें।”