Jharkhand कांग्रेस प्रसिडेंट बदले जायेंगे, धीरज, प्रदीप, गीता या बंधु को मिल सकती है जिम्मेवारी
श में लोकसभा चुनाव से पूर्व कांग्रेस विभिन्न स्टेट के लीडरशीप में बदलाव कर रही है। हाल के महीने में बिहार, उत्तर प्रदेश समेत समेत आधा दर्जन से अधिक स्टेट में नये प्रसिडेंट की नियुक्ति की जा चुकी है। एसे में अब झारखंड में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष बदले जाने की चर्चा तेज हो गयी है। बिहार व उत्तर प्रदेश में भूमिहार जाति से आनेवाले नेता को कांग्रेस प्रसिडेंट की जिम्मेवारी मिली है। ऐस में अब भूमिहार जाति से आने वाले झारखंड कांग्रेस प्रसिडेंट राजेश ठाकुर का बदलना तय हो गया है।
रांची। देश में लोकसभा चुनाव से पूर्व कांग्रेस विभिन्न स्टेट के लीडरशीप में बदलाव कर रही है। हाल के महीने में बिहार, उत्तर प्रदेश समेत समेत आधा दर्जन से अधिक स्टेट में नये प्रसिडेंट की नियुक्ति की जा चुकी है। एसे में अब झारखंड में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष बदले जाने की चर्चा तेज हो गयी है। बिहार व उत्तर प्रदेश में भूमिहार जाति से आनेवाले नेता को कांग्रेस प्रसिडेंट की जिम्मेवारी मिली है। ऐस में अब भूमिहार जाति से आने वाले झारखंड कांग्रेस प्रसिडेंट राजेश ठाकुर का बदलना तय हो गया है।
यह भी पढ़ें:Jharkhand: राज्य को यहां का आदिवासी और मूलवासी ही संवारेगा: CM हेमंत सोरेन
ओबीसी कार्ड खेलने की तैयारी में कांग्रेस
जानकार सोर्सेज का कहना है कि कांग्रेस झारखंड में ओबीसी कार्ड खेलने की तैयारी में हैं। इस कड़ी में राज्यसभा एमपी धीरज व एमएलए प्रदीप यादव के नामों को लेकर पार्टी गंभीर है।आदिवासी नेताओं में एमपी गीता कोड़ा, एक्स मिनिस्टर बंधु तिर्की व एक्स एमएलए कालीचरण मुंडा के नाम की भी चर्चा है। ओबीसी कोटा से धीरज साहू व आदिवासी कोटे से एमपी गोती कोड़ा अलाकमान की पहली पसंद है। वैसे डा अजय कुमार, सुबोधकांत सहाय, प्रदीप कुमार बलमुचू व सुखदेव भगत के नाम भी चर्चा में है।
बीजेपी की वोट बैंक में सेंधमारी करने की कोशिश में कांग्रेस
पॉलिटिकल सोर्सेज का कहना है कि कांग्रेस झारखंड में ओबीसी कार्ड खेलकर बीजेपी की वोट बैंक में सेंधमारी करने की कोशिश में है। ऐसे में स्टेट की कमान ओबीसी के कद्दावर व सक्षम लीडर को देने की तैयारी है। ओबीसी लीडर में ज्यसभा एमपी धीरज व एमएलए प्रदीप यादव के ही नाम अलकमान की लिस्ट में हैं। प्रदीप यादव की कांग्रेस के बड़े नेताओं से मुलाकात के बााद उन्हें कमान दिये जाने की चर्चा जोड़ पकड़ी है। धीरज साहू के लिए आदिवासी नेताओं का एक तबका भी जोर दे रहा है। इस तबका कहना है कि अगर किसी आदिवासी को मौका नहीं मिलती है तो एमपी धीरज साहू स्वीकार होंगे। धीरज साहू की सेंट्रल लीडरशीप में सीधी पहुंच है।
झारखंड कांग्रेस प्रसिडेंट के लिए दिल्ली में नेताओं की लॉबिंग तेज हो गई है। कांग्रेस के कई दावेदार या उनके समर्थक नेता व्यक्तिगत रूप से हाईकमान तक अपनी बात पहुंचाया है। हालांकि वर्तमान प्रदेश अध्यक्ष के समर्थक अभी तक किसी भी तरह के बदलाव होने की संभावना से साफ इनकार कर रहे हैं। उनका कहना है कि वर्तमान अध्यक्ष के कार्यकाल में संगठन के मुद्दे पर जबरदस्त काम हुए हैं। कार्यकर्ताओं को मान-सम्मान भी मिला है। इसीलिए प्रदेश अध्यक्ष बदलने जाने की अभी ऐसी कोई संभावना नहीं है।
नई दिल्ली में हाल के दिनों में झारखंड कांग्रेस के कई नेताओं ने सोनिया गांधी, राहुल गांधी, राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल से मिलकर बात की है। कहने के लिए तो सभी लोगों ने शिष्टाचार मुलाकात की, लेकिन पार्टी के दिल्ली जाकर आलाकमान से मुलाकात करने वाले नेता प्रदेश अध्यक्ष पद को लेकर एक्टिव हैं।