Run For Khatian 1932:स्थानीय नीति लागू करने के लिए रन फॉर खतियान 1932 में दौड़े सैकड़ों युवा
झारखंड में 1932 के खतियान के आधार पर स्थानीति नीति लागू करने की मांग को लेकर रविवार को बोकारो से धनबाद तक रन फार खतियान 1932 का आयोजन किया गया। लगभग दो हजार युव इस दौड़ में शामिल हुएष इसमें एक्स मिनिस्टर गीताश्री उरांव और एक्स एमएलए अमित महतो ने भी शिरकत की। दोनों नेताओं ने सीएम हेमत सोरेन पर जमकर निशाना साधा।
- बोकारो नया मोड़ से धनबाद रणधीर वर्मा चौक तक दौड़ का आयोजन
- एक्स एमएलए अमित महतो ने सीएम के खिलाफ बोला हल्ला
- गीताश्री ने कहा-झारखंडियों को अपमानित कर रही सरकार
धनबाद। झारखंड में 1932 के खतियान के आधार पर स्थानीति नीति लागू करने की मांग को लेकर रविवार को बोकारो से धनबाद तक रन फार खतियान 1932 का आयोजन किया गया। लगभग दो हजार युव इस दौड़ में शामिल हुएष इसमें एक्स मिनिस्टर गीताश्री उरांव और एक्स एमएलए अमित महतो ने भी शिरकत की। दोनों नेताओं ने सीएम हेमत सोरेन पर जमकर निशाना साधा।
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झारखंडी भाषा संघर्ष समिति की ओर से 'रन फॉर खतियान' का आयोजन रविवार को बोकारो के नया मोड़ से धनबाद के रणधीर वर्मा चौक तक किया गया। नया मोड़ स्थित भगवान बिरसा मुंडा की प्रतिमा पर माल्यार्पण व पलाश फूल अर्पित कर 'रन फॉर खतियान' का मशाल जलाया गया। बोकारो के चमसोबाद निवासी डोमिसाइल मैन के नाम से मशहूर स्व. मिहिर केटियार की पुत्री प्रिंसिका महतो केटियार ने अपने घर से लायी रोहइन मिट्टी से धावकों का तिलक लगाया। गीताश्री उरांव व अमित महतो सहित अन्य ने सुबह छह बजे धावकों को मशाल सौंपकर दौड़ की शुरूआत करायी। इसमें बड़ी संख्या में यवुक व युवतियो ने हिस्सा लिया।

नया मोड़ से कुछ दूर दौड़कर व कुछ पैदल चलकर लगभग 45 किलोमीटर की दूर तय कर जत्था धनबाद के रणधीर वर्मा चौक पहुंची। यहां पहले से तैयार कार्यकर्ताओं का जत्था उन सभी का ताली बजाकर व नारों के साथ स्वागत किया। दौड़ में शामिल लोगों के सफेद टीशर्ट पर एक ओर रन फार खतियान वहीं दूसरी ओर 1932 का खतियान लागू करो का संदेश लिखा हुआ था।

दौड़ में शामिल युवाओं की टोली झारखंड सरकार होश में आओ, 1932 खतियान लागू करो आदि नारे लगा रहे थे। रणधीर वर्मा चौक पहुंचते ही धनबाद व आस-पास के रहने वाले युवाओं ने दौड़ में शामिल युवाओं पर पलाश के फूलों का छिड़काव किया। आंदोलन में शामिल लोगों ने कहा कि जब तक खतियान नीति लागू नहीं हो जाता, उनका आंदोलन जारी रहेगा। आने वाले समय में आंदोलन का अलग अलग रूप देखने को मिलेगा। हेमंत सरकार बची हुई तीन साल की अवधि पूरी नहीं कर पायेगी।

खतियान नीति लागू नहीं हुई तो सरकार को उखाड़ फेकेंगे : अमित
एक्स एमएलए अमित महतो ने कहा कि झारखंड में लगातार सड़क से लेकर सदन तक 1932 के तहत स्थानीय नीति लागू करने की मांग युवाओं द्वारा की जा रही है। अगर सीएम हेमंत सोरेन स्थानीय नीति लागू नहीं करते हैं, तो इस सरकार को उखाड़ कर फेकेंगे। आने वाले दिन में झारखंडी लोग विधानसभा घेरने का काम करेंगे। उन्होमंने कहा कि कहा कि समय रहते सरकार खतियान नीति लागू कर राज्य में तृतीय और चतुर्थ श्रेणी की नौकरी सौ प्रतिशत खतियानधारकों के लिए आरक्षित करे।
खतियान ही झारखंडियों की पहचान : गीताश्री
गीताश्री उरांव ने कहा कि खतियान ही झारखंडियों की पहचान है। खतियान के आधार पर स्थानीय नीति बननी चाहिए। खतियान के आधार पर नीति नहीं बनने से स्थानीय व मूलवासी को उनका हक नहीं मिल रहा है। राज्य सरकार की जितनी भी गलत नीतियां बनायी गयी हैं सभी नीतियों को रद्द कर झारखंडियों को हक दिलाने का काम करें। 21 वर्ष बीत जाने के बाद भी झारखंडियों को अधिकारिक पहचान नहीं मिली है।खतियान ही झारखंडियों की पहचान है। खतियान के आधार पर स्थानीय नीति बननी चाहिए। खतियानी आधार पर नीति नही बनने से यहां के लोगों को हक नहीं मिल रहा है। इसलिए झारखंडी सड़क पर उतर कर अपने हक मांगने में लगे हुए है।

केंदुआडीह पुलिस से नोक-झोक
करकेंद बिजली आफिस के समीप केंदुआडीह, पुटकी व लोयाबाद की पुलिस के साथ रन फॉर खतियान में शामिल लोगों की नोक-झोक हुई। वहीं केंदुआडीह के एक पीएसआइ के साथ धक्का–मुक्की हो गयी।
कपुरिया में पुलिस ने युवक पर लाठी चलायी
रन फॉर खतियान में दौड़ने वालों के स्वागत में खड़े युवक के साथ कपुरिया ओपी पुलिस की तीखी नोकझोक भी हुई। बल प्रयोग कर लोगों को हटाया गया।






