Jharkhand: अब एम्स की तरह शनिवार को भी खुला रहेगा रिम्स हॉस्पिटल, पेसेंट को मिलेंगी सभी इमर्जेंसी सेवाएं
झारखंड के सबसे बड़े गवर्नमेंट हॉस्पिटल राजधानी रांची के रिम्स मैनेजमेंट की कार्यकारिणी समिति की 34वीं बैठक कर कई निर्णय लिये गये हैं। बैठक में मरीजों की सुविधाओं को प्राथमिकता दी गई। इन सभी निर्णय को शासी परिषद के अध्यक्ष सह हेल्थ मिनिस्टर बन्ना गुप्ता द्वारा अनुमोदित किया गया।
- शनिवार को दोपहर दो बजे के बाद ही डाक्टरों से मिल सकेंगे एमआर
- रिम्स मैनेजमेंट कार्यकारिणी समिति की 34वीं बैठक में कई फैसले लिए गये
रांची। झारखंड के सबसे बड़े गवर्नमेंट हॉस्पिटल राजधानी रांची के रिम्स मैनेजमेंट की कार्यकारिणी समिति की 34वीं बैठक कर कई निर्णय लिये गये हैं। बैठक में मरीजों की सुविधाओं को प्राथमिकता दी गई। इन सभी निर्णय को शासी परिषद के अध्यक्ष सह हेल्थ मिनिस्टर बन्ना गुप्ता द्वारा अनुमोदित किया गया।
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शनिवार को सुबह नौ बजे से दोपहर दो बजे तक खुला रहेगा ओपीडी
बैठक में जिन पारित प्रस्तावों को अनुमोदित किया गया है, उनमें एम्स की तर्ज पर रिम्स प्रत्येक शनिवार को सुबह नौ बजे से दोपहर दो बजे तक खुला रखना प्रमुख रहा। इस बीच सभी इमर्जेंसी सुविधाएं मरीजों को मिलेंगी। एमआर डाक्टरों से सिर्फ शनिवार को दोपहर दो बजे के बाद ही मिल सकेंगे। अन्य दिनों एमआर का प्रवेश ओपीडी एवं आइपीडी में वर्जित रहेगा। सभी मेडिकल स्टोर शनिवार को भी शाम पांच बजे तक खुले रहेंगे। रिम्स में नाक, कान एवं गला विभाग में आडियोमेट्री जांच की सुविधा नहीं होने के कारण बहरेपन की जांच इत्यादि का कार्य प्रभावित होता है। इस संबंध में मरीज एवं संस्थान हित में आडियोमेट्री जांच के लिए दो आडियोमेट्री मशीन का क्रय करने की मंजूरी दी गयी। मशीन के संचालन हेतु योग्यतानुसार दक्ष कर्मी की नियुक्ति अनुबंध पर किया जायेगा।
किसी भी जांच के अभाव में ट्रामा मरीजों का इलाज नहीं रोका जायेगा
बैठक में लिये गये अन्य निर्णय में केंद्रीय इमर्जेंसी में आने वाले मेडिको लीगल केस वाले मरीजों का रेडियोलाजिकल टेस्ट (एक्स-रे व सीटी स्कैन) निशुल्क किया जायेगा। किसी भी जांच के अभाव में ट्रामा पेसेंट का इलाज रोका नहीं जायेगा। बाह्य श्रोतीय व्यवस्था अंतर्गत कार्यरत 64 आउटसोर्स कर्मियों के कार्यों का आकलन समिति से कराकर तात्कालिक रूप से नियमानुसार रिम्स के आंतरिक स्तर से वेतन भुगतान किया जायेगा।
आयुष्मान भारत योजना के तहत मरीजों का सुलभ उपचार सुनिश्चित करने के लिए आवश्यकतानुसार ओपीडी के तहत 15 कंप्यूटर आपरेटर, 12 लैब टेक्निशियन और 25 वार्ड एटेंडेंट की बहाली की जायेगी। मेडिकल सुपरिटेंडेट के पास अत्यधिक कार्यभार होने के कारण कई कार्य प्रभावित हो रहे थे। इसी संदर्भ में मरीज एवं संस्थान के कार्यों के सुगम निष्पादन के लिए एक अपर चिकित्सा अधीक्षक और दूसरे चिकित्सा उपाधीक्षक की बहाली होगी।