मुंबई: मनसुख हिरेन की वाइफ का आरोप- पुलिस ऑफिसर सचिन वाझे ने की मेरे हसबैंड की मर्डर, विधानसभा में गूंजा मामला
इंडट्रस्लिस्ट मुकेश अंबानी के घर के बाहर मिली विस्फोटक लदी स्कॉर्पियो के मालिक मनसुख हिरेन की वाइफ ने आरोप लगाया है कि पुलिस अफसर सचिन वाझे ने ही उनके हसबैंड की मर्डर की है। मामले में पुलिस में कंपलेन की गयी है।
मुंबई। इंडट्रस्लिस्ट मुकेश अंबानी के घर के बाहर मिली विस्फोटक लदी स्कॉर्पियो के मालिक मनसुख हिरेन की वाइफ ने आरोप लगाया है कि पुलिस अफसर सचिन वाझे ने ही उनके हसबैंड की मर्डर की है। मामले में पुलिस में कंपलेन की गयी है।
मुंबई में अंबानी के घर एंटीलिया के बाहर 25 फरवरी को स्कॉर्पियो में जिलेटिन की 20 छड़ें और धमकी वाला एक लेटर मिला था। इसके कुछ दिनों बाद हिरेन की बॉडी ठाणे के मुंब्रा क्रीक से मिला। यह केस अब एनआईए को सौंपा जा चुका है।मुंबई एटीएस भी जांच में जुटी है। विधानसभा में विपक्ष के नेता देवेंद्र फडणवीस ने मंगलवार को यह मुद्दा विधानसभा में भी उठाया और वाझे की गिरफ्तारी की मांग की।
पुलिस में दर्ज करायी एफआइआर
इंडिया टुडे की एक रिपोर्ट के अनुसार मनसुख हिरेन की वाइफ विमला हिरेन ने पांच मार्च तक के पूरे घटनाक्रम का डिटेल दिया है, जिस दिन उनके हसबैंड की बॉडी मिली थी। विमला ने एफआईआर में कहा है कि मनसुख एक ऑटो पार्ट डीलर थे। स्कॉर्पियो तीन साल से उनके कब्जे में थी, जबकि इसका असली मालिक पीटर न्यूटन हैं। हिरेन ने यह कार वाझे को दी थी, जोकि पिछले साल नवंबर में उनके रेगुलर कस्टमर थे। विमला ने कहा कि पांच फरवरी को वाझे ने । स्कॉर्पियो को दुकान में भेजा और कहा कि इसका स्टीयरिंग कुछ जाम हो गया है। हिरेन 17 फरवरी को स्कॉर्पियो लेकर मुंबई गये। हालांकि, स्टीयरिंग जाम था। स्कॉर्पियो को मुलंद टोल प्लाजा के पास पार्क कर दिया। अगले दिन वह स्कॉर्पियो वहां नहीं मिली।
विमला ने कहा है कि हीरेन ने विक्रोली पुलिस स्टेशन में स्कॉर्पियो गायब होने के संबंध में कंपलेन दर्ज कराई। 25 फरवरी को जब स्कॉर्पियो अंबानी के घर के बाहर मिली, एटीएस विक्रोली यूनिट ने मेरे हसबैंडसे पूछताछ की। मेरे हसबैंड ने कार को पहचाना और चोरी के बारे में बताई। एफआईआर की कॉपी भी दिखाई। विमला का कहना है कि उसके हसबैंड एनकाउंटर स्पेशलिस्ट वाझे से 27, 28 फरवरी और दो मार्च को थे। हिरेन ने दो मार्च मुझे बताया कि वाझे के कहे अनुसार उन्होंने पुलिस और मीडिया की ओर से उत्पीड़न की कंपलेन, सीएम, होम मिनिस्टर और मुंबई-ठाने पुलिस कमिश्नर को भेजी। हालांकि, जब मैंने हसबैंड से पूछा कि क्या उन्हें पुलिसकर्मियों ने प्रताड़ित किया है तो उन्होंने इससे इनकार किया।
हिरेन की वाइफ ने कहा है कि वाझे ने उसके हसबैंड से खुद की गिरफ्तारी देने को कहा था। वादा किया था कि वह कुछ ही दिनों में बेल करा देंगे। विमला ने कहा कि चार मार्च को मनसुख ने अग्रिम जमानत के लिए मुझे वकील से बात करने को कहा, क्योंकि उसकी गिरफ्तारी हो सकती है। लेकिन वकील ने कहा कि उसकी जमानत की याचिका स्वीकार नहीं होगी क्योंकि मनसुख आरोपी नहीं है। उन्होंने अपने हसबैंड को अंतिम बार चार मार्च को देखा जब हिरेन कांदिवली क्राइम ब्रांच के पुलिस अफसर तावडे से सलाह लेने के लिए निकले थे। हिरेन की बॉडी पांच मार्च मुंब्रा क्रीक से बरामद हुआ। ठाणे पुलिस ने कहा कि जब हिरेन का बॉडी मिला तो उनके चेहरे पर पांच रुमाल बंधे थे। विमला ने कंपलेन में कहा है कि उसके हसबैंड अच्छे तैराक थे। वह डूब नहीं सकते हैं। उनका फोन, सोने की चेन और पर्स नहीं मिला है। पूरी स्थिति को देखते हुए मुझे लगता है कि उनकी मर्डर हुई है।वाझे ने उनकी जान ली है।'
फडणवीस ने पुलिस अफसर सचिन वाझे का बताया हाथ
विपक्ष के नेता और महाराष्ट्र के एक्स सीएम देवेंद्र फडणवीस ने मंगलवार को मुंबई पुलिस के एनकाउंटर स्पेशलिस्ट एपीआई सचिन वाझे की गिरफ्तारी की मांग की है। महाराष्ट्र विधानसभा में फडणवीस ने दावा किया कि मुकेश अंबानी के घर के बाहर मिली विस्फोटक कार घटना से पहले चार महीने तक वाझे के पास थी।कार के मालिक हिरेन मनसुख पिछले दिनों मृत पाये गये हैं। फणडवीस ने कहा कि मनसुख हिरेन की पत्नी को शक है कि सचिन वाझे ने उनके पति की मर्डर की। फडणवीस ने मनसुख हीरेन की पत्नी का बयान पढ़ते हुए कहा कि वाझे ने हिरेन को सलाह दी थी कि वह खुद की गिरफ्तारी करवा ले और वह आसानी से बेल दिला देगा। हालांकि, उसकी पत्नी ने इससे अलग राय दी और हिरेन अग्रिम जमानत के लिए राय-विचार कर रहा था। फडणवीस ने कहा कि उसकी पत्नी को शक है कि वाझे ने ही हिरेन की मर्डर की और इसलिए उसे गिरफ्तार किया जाए।
फडणवीस ने यह भी दावा किया कि मनसुख हिरेन के फोन की आखिरी लोकेशन शिवसेना लीडर धनंजय गावडे के ऑफिस के पास मिली थी। शिवसेना लीडर धनंजय गावडे और एपीआई सचिन वाझे का नाम वर्ष 2017 में उगाही केस में आया था। फडणवीस के बयान पर विधानसभा में जमकर हंगामा हुआ। फिर कार्यवाही को स्थगित करना पड़ा। फडणवीस ने इससे पहले भी विधानसभा में कहा था कि सचिन वाझे और हिरेन पहले से संपर्क में थे। दोनों ठाणे के रहने वाले थे। उन्होंने हिरेन को इस केस की अहम कड़ी बताते हुए कहा था कि उनकी जान को खतरा हो सकता है, लेकिन इसके कुछ देर बाद ही हिरेन का बॉडी मिला था।
उल्लेखनीय है कि मुंबई पुलिस के अधिकारी सचिन वाझे पहले भी विवादों में रहे हैं।वर्ष 2002 घाटकोपर बम ब्लास्ट केस के आरोपी ख्वाजा युनूस की पुलिस कस्टडी में मौत मामले में 14 अन्य पुलिसकर्मियों के साथ वाझे सस्पेंड किये गये थे। उन्होंने वर्ष 2007 में पुलिस की नौकरी छोड़ दी थी। दोबारा बहाली की अपील खारिज होने के बाद उन्हें इस्तीफा देना पड़ा था। लेकिन कोरोना महामारी के दौरान पुलिसकर्मियों की कमी की वजह से वर्ष 2020 की जून में उन्हें दोबारा बहाल कर दिया गया।
पीपीई किट पहनकर आया था मुकेश अंबानी के घर के बाहर संदिग्ध स्कॉर्पियो खड़ी करने वाला
मुकेश अंबानी के घर के बाहर मिली संदिग्ध स्कॉर्पियो की गुत्थी 14 दिन बाद भी नहीं सुलझ पाई है। अंबानी के घर के बाहर 25 फरवरी को संदिग्ध स्कॉर्पियो खड़ी करने वाला शख्स पीपीई किट पहनकर आया था। सीसीटीवी फुटेज से इस बात का खुलासा हुआ है। इंडिया टुडे की रिपोर्ट के अनुसार मुकेश अंबानी के घर के बाहर जो कार खड़ी की गई थी, उसे रखते वक्त शख्स पीपीई कीट में था। यह सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गया।रिपोर्ट के अनुसार पीपीई किट पहनकर स्कॉर्पियो खड़ी करने के पीछे शख्स का मकसद था कि किसी तरह अपनी पहचान छिपाई जाए। पुलिस ने कहा था कि स्कॉर्पियो 18 फरवरी को चोरी हुई थी। यह गाड़ी चोरी होने से पहले हिरने मनसूख के पास थी, जो बीते दिनों मृत मिला था।
स्कॉर्पियो को जब्त करने के बाद मुंबई पुलिस की अपराध शाखा के अधिकारियों ने सीसीटीवी की जांच की थी। एक इनोवा कार को भी उस वक्त देखा गया, जब मुकेश अंबानी के आवास के बाहर स्कॉर्पियो को छोड़ा गया था। सीसीटीवी फुटेज में शख्स एंटीलिया के बाहर एसयूवी को पार्क करने के बाद इनोवा से जाते हुए दिखाया गया था।एनआईए ने मुकेश अंबानी के मुंबई स्थित आवास के पास मिले विस्फोटक से लदे एक वाहन के मामले की जांच को अपने हाथों में ले लिया है। वहीं दूसरी ओर महाराष्ट्र के सीएमउद्धव ठाकरे ने इस मामले में एनआईए द्वारा जांच की जिम्मेदारी संभालने पर सोमवार को कहा कि कुछ तो गड़बड़ है।