बिहार : 65 BPSC का रिजल्ट जारी, गौरव सिंह बने टॉपर, सेकेंड टापर हुई चंदा, सुमित को थर्ड रैंक
BPSC की 65वीं संयुक्त प्रतियोगिता परीक्षा का रिजलट गुरुवार को जारी कर दिया गया है। गौरव सिंह टॉपर बने हैं। सेकेंड टॉपर चंदा भारती लड़कियों में टॉपर बनीं हैं। सुमित कुमार थर्ड टॉपर बने हैं। टॉप 10 में दो लड़कियां हैं। लड़कियों में सेकेंड टॉपर अनामिका को ओवर-ऑल आठवां स्थांन मिला हे। रिजल्ट के आधार पर 14 डिपार्टमेंट में 423 पदों पर नियुक्तियां होनी हैं।
- टॉप 10 में दो लड़कियां
पटना। BPSC की 65वीं संयुक्त प्रतियोगिता परीक्षा का रिजलट गुरुवार को जारी कर दिया गया है। गौरव सिंह टॉपर बने हैं। सेकेंड टॉपर चंदा भारती लड़कियों में टॉपर बनीं हैं। सुमित कुमार थर्ड टॉपर बने हैं। टॉप 10 में दो लड़कियां हैं। लड़कियों में सेकेंड टॉपर अनामिका को ओवर-ऑल आठवां स्थांन मिला हे। रिजल्ट के आधार पर 14 डिपार्टमेंट में 423 पदों पर नियुक्तियां होनी हैं। कैंडिडेट अपना रिजल्ट आयोग की आफिशियल वेबसाइट www.bpsc.bih.nic.in पर जाकर देख सकते हैं।
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टॉपर गौरव व चंदा ने कहा
बीपीएससी की 65वीं एग्जाम के टापर गौरव सिंह रोहतास के सासाराम स्थित चमराहां शिव सागर के निवासी हैं। गौरव के पिता मनोज कुमार का बचपन में ही निधन हो गया था, जिसके बाद उनकी मां शशि सिंह ने देखभाल की। दो भाइयों में बड़े गौरव बचपन से ही मामा के घर सासाराम में ही मां के साथ रहे। केआइआइटी यूनिविर्सिटी से मैकेनिकल इंजीनियरिंग करने के बाद वह पूणे में ही रह कर बीपीएससी की तैयारी की। वहीं सेकेंड टापर चंदा बुडको में सहायक अभियंता हैं। थर्ड रैंक आने वाले नालंदा के वरुण दिल्ली यूनिवर्सिटी से पढ़ाई कर रहे हैं। गौरव ने कहा कि उन्हें सफलता की उम्मीैद तो थी, लेकिन टॉपर बनेंगे, ऐसा नहीं सोचा था। गर्ल्स टॉपर चंदा भारती बांका की रहने वाली हैं। वे भी सिविल इंजीनियरिंग से ग्रेजुएशन कर चुकीं हैं। चंदा भारती ने बताया कि उन्हेंं सफलता की सूचना भाई ने फोन पर दी।
सेल्फ स्टडी से बनीं सेकेंड टॉपर बनी चंदा
बीपीएससी 65वें सेकेंड टापर बनीं चंदा अब एडीएम बनेंगी। वह अभी वर्तमान में बुडको गया में सहायक अभियंता के रूप में कार्यरत हैं। 64वीं बीपीएससी में भी उन्हें 684वीं रैंक हासिल हुई थी। तब उन्हें राजस्व अधिकारी की रैंक निर्धारित की गई थी। भागलपुर के कमलनगर कालोनी मिर्जान हाट की रहने वाली चंदा भारती के पिता ई. विवेकानंद यादव झारखंड के सिंचाई विभाग में कार्यरत हैं। मां कुंदन कुमारी पाकुड़ में सहायक शिक्षिका हैं। चंदा ने बताया कि बगैर कोचिंग और माक टेस्ट के ही अबतक उन्होंने पढ़ाई की है। चंदा ने कहा कि उनकी सफलता में उनके भाइयों का बड़ा योगदान रहा। एक बड़ा भाई होम मिनिस्टरी में कार्यरत है, जबकि, छोटा भाई झारखंड में ही अभियंता है। उसकी शिक्षा-दीक्षा झारखंड से ही हुई है। उसे बिहार इंजीनियरिंग सेवा के लिए भी चयन किया गया है।
पहले प्रयास में वरुण ने लाया थर्ड रैंड
बिहारशरीफ के भैंसासूर निवासी वरुण बीपीएससी की 65वीं परीक्षा में थर्ड टापर बना है। सैनिक स्कूल नालंदा से मैट्रिक तो बोकारो के चिन्मया स्कूल से इंटर करने के बाद वरुण ने दिल्ली यूनिवर्सिटी ग्रेजुएशन किया। डीयू से ही अभी वरुण पीजी कर रहे हैं। वरुण ने बताया कि बीपीएससी में उनका यह पहला प्रयास था। वहीं यूपीएससी 2020 के एग्जाम में दूसरे प्रयास में उन्होंने 697वीं रैंक हासिल की थी। वरुण के पिता उमेश कुमार चौधरी असम के गुवाहाटी में एसबीआइ में कार्यरत हैं। वह उन्हीं के साथ रहते हैं।
सबसे अधिक बहाली ग्रामीण विकास पदाधिकारी की
संयुक्त सचिव व परीक्षा नियंत्रक अमरेंद्र कुमार के अनुसार इस वर्ष रिजल्ट के आधार पर सर्वाधिक 110 नियुक्तियां ग्रामीण विकास पदाधिकारी की होंगीं। बिहार शिक्षा सेवा के 72 तथा डीएसपी के 62 पद भी भरे जाने हैं।
विभिन्न विभागों में रिक्तियां
बिहार प्रशासनिक सेवा - 30 रिक्तियां
DSP (होम डिपार्टमेंट) - 62
डिस्ट्रिक कमांडेंट (होम डिपार्टमेंट) - छह
बिहार शिक्षा सेवा (शिक्षा विभाग) - 72
उत्पाद एव निबंधन विभाग -पांच
श्रम संसाधन विभाग - 20
अवर निर्वाचन पदाधिकारी (निर्वाचन विभाग) - 46
ग्रामीण विकास पदाधिकारी (ग्रामीण विकास विभाग) -110
प्रखंड पंचायती राज पदाधिकारी (पंचायती राज विभाग) - 14
नगर कार्यपालक पदाधिकारी (नगर विकास एवं आवास विभाग) - 11
जिला अल्पसंख्यक कल्याण पदाधिकारी (अल्पसंख्यक कल्याण विभाग) - एक
नियोजन पदाधिकारी/ जिला नियोजन पदाधिकारी (श्रम संसाधन विभाग) - नौ
आपूर्ति निरीक्षक (खाद्य एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग) - 19
अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति कल्याण विभाग - 18