बिहार: मोतिहारी के क्रिकेटर सकीबुल गनी ने रणजी डेब्यू में ट्रिपल सेंचुरी मारा, बनाया रिकॉर्ड
पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता के जाधवपुर यूनिवर्सिटी ग्राउंड में खेले जा रहे रणजी ट्रॉफी मैच में बिहार के पूर्वी चम्पारण के लाल सकीबुल गनी ने अपने डेब्यू मैच में ही ट्रिपल सेंचुरी बनाकर हुए इतिहास रच दिया।
- मां ने ज्वेलरी गिरवी रख बेटे के था बैट
कोलकाता। पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता के जाधवपुर यूनिवर्सिटी ग्राउंड में खेले जा रहे रणजी ट्रॉफी मैच में बिहार के पूर्वी चम्पारण के लाल सकीबुल गनी ने अपने डेब्यू मैच में ही ट्रिपल सेंचुरी बनाकर हुए इतिहास रच दिया।
Ind vs Wi 2ndT20: इंडिया ने वेस्टइंडीज को आठ रनों से हराया, पूरन व पावेल की फिफ्टी बेकार गयी
रणजी ट्रॉफी के इतिहास में किसी बैंट्समन का पहला ट्रिपल सेंचुरी
उन्होंने बिहार टीम की ओर से मिजोरम के खिलाफ खेलते हुए 405 गेंद में 341 रन (56×4 व 2×6) की शानदार पारी खेली। Sakibul Gani की पारी की बदौलत बिहार ने फस्ट पाली में 148.5 ओवर में 609 रन का विशाल स्कोर खड़ा कर दिया। रणजी ट्रॉफी के इतिहास में यह पहला अवसर है कि जब किसी बैंट्समन ने ट्रिपल सेंचुरी लगाया हो। सकीबुल गनी ने रणजी ट्रॉफी के डेब्यू मैच में सबसे बड़ा स्कोर का राष्ट्रीय कीर्तिमान भी अपने नाम कर लिया। इसके पहले यह कीर्तिमान मध्य प्रदेश के बैंट्समैन अजय रोहेड़ा के नाम था। अजय ने 2018 में अपने डेब्यू मैच में हैदराबाद के खिलाफ नाबाद 267 रन बनाये थे।
दो-तीन सेशन से बीसीसीआई के द्वारा आयोजित प्रतिस्पर्धाओं में लगातार बेहतर प्रदर्शन
मोतिहारी टाउन के अगरवा मोहल्ला निवासी मो.मन्नान गनी का पुत्र सकीबुल गनी (22) ने विगत दो-तीन सेशन से बीसीसीआई के द्वारा आयोजित प्रतिस्पर्धाओं में लगातार बेहतर प्रदर्शन किया है। उन्होंने वर्ष 2015 में अंडर-14,2016-17 में अंडर-19 तथा 2017 व 18 में बिहार अंडर-23 के अलावा 2019 व 2021 के विजय हजारे सीनियर ट्रॉफी, 2020 में चेन्नई और 2021 में दिल्ली में आयोजित आयोजित मुश्ताक अली (20-20) व विजय हजारे(50-50)ट्रॉफी में भी बेहतर प्रदर्शन किया था। सकीबुल बिहार अंडर-23 के लिए 306, 281 व 147 रन की शानदारपारी खेल चुके हैं। विजय हजारे टूर्नामेंट में खेलते हुए बिहार के लिए 113 व 94 रन तथा मुश्ताक अली टूर्नामेंट में भी एक हाफ सेंचुरी पारी खेली है। कई अवसर पर बॉलिंगका भी दमखम दिखाया है।
मां ने ज्वेलरी गिरवी रख खरीदे बैट
सकीबुल के सपनों का उड़ान भरने में उनकी मां आजमा खातून ने गरीबी को कभी भी बाधा नहीं बनने दिया। बैट के लिए पर्याप्त पैसे नहीं थे तो उसकी मां ने अपने गहने गिरवी रख कर तीन बैट खरीदे थे। सकीबुल की मां का कहना है कि परिवार में इसकी जानकारी किसी को भी नहीं थी। सकीबुल का बैट देते हुए उसकी मां ने कहा था, जा.. बेटा तीन बैट दे रही हूं । तीन शतक लगाकर आना। उसने मेरी बात सच कर दिखाया।
हवाई जहाज के शौक ने बना दिया क्रिकेटर
सकीबुल बचपन से ही क्रिकेट खेलता था सकीबुल अपने बड़े भाई फैसल गनी को वर्ष 2009 में अंडर 19 खेलने के लिए पटना एयरपोर्ट छोड़ने गये थे। फैसल का कहना है कि मुझे हवाई जहाज में बैठते देख सकीबुल को लगा कि वह भी क्रिकेट खेलेगा तो फ्लाइट से यात्रा कर सकेगा। और उसके बाद से उसपर क्रिकेट का जुनून सवार हो गया।
सकीबुल के पिता की है पीडीएस दुकान
सकीबुल के पिता मो.गन्नान गनी पीडीएस दुकान चलाते हैं। मो.गन्नान ने बताया कि बच्चों की परवरिश के बीच उन्होंने कभी मुफलिसी को नहीं आने दिया। उनकी मां ने गहने गिरवी रखकर बैट खरीदे। मैंने दिन-रात मेहनत कर उसकी सुविधाओं और जरूरतों का खयाल रखा। उसकी मेहनत और लोगों की दुआ रंग ला रही है। अल्लाह से दुआ है कि वह अपने देश के लिए भी खेले।
क्रिकेट के लिए छोड़ दी इंटर की एग्जाम
सकीबुल ने वर्ष 2021 में बंगलुरू में चल रहे विजय हजारे सीनियर ट्रॉफी में भाग लेने के इंटर की एग्जाम बीच में ही छोड़ दी। बडे भाई फैसल गनी बताते हैं कि सकीबुल को क्रिकेट गॉड गिफ्टेड है।पढ़ाई से ज्यादा खेल में रूचि है। यही वजह कि इंटर आर्टस का तीन पेपर की परीक्षा देने के बाद बीच में ही विजय हजारे खेलने चेन्नई रवाना हो गया था। वर्ष 2022 में भी इंटर परीक्षा नहीं दे सका।
सकीबुल को सम्मानित करेंगे डीएम
पूर्वी चंपारण के डीएम शीर्षत कपिल अशोक ने सकीबुल गनी के असाधारण प्रदर्शन पर बधाई व शुभकामनाएं दी हैं। उन्होंने कहा कि रणजी ट्रॉफी के उपरांत सकीबुल गनी के जिला मुख्यालय पहुंचते ही जिला प्रशासन एक कार्यक्रम आयोजित कर उसे सम्मानित करेगा।