धनबाद। आइआइटी आइसएम के 2018 बैच के पूर्व छात्र विकास महाजन वरामस्वरूप चौधरी को हाल ही में ट्रेंडसेटर्स-2022 के तहत आयोजित एक पुरस्कार समारोह प्रतियोगी शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्टता पुरस्कार से सम्मानित किया गया है। यह आयोजन टाइम्स अप्लायड की ओर से राजभवन मुंबई में पिछले महीने हुआ। इसमें बतौर चीफ गेस्ट महाराष्ट्र के गवर्नर भगत सिंह कोश्यारी और पद्मश्री कुमार शानू उपस्थिति हुए।दोनों छात्रों ने शिक्षा के क्षेत्र में सकारात्मक बदलाव लाने और भावी पीढ़ी को शिक्षा के क्षेत्र में नित नए बदलावों के प्रति जागरूक करने के उद्देश्य से 2020 में विराज नाम से अपना शैक्षणिक संस्थान शुरू किया। इसे शुरू करने से पहले पांच वर्षों से अधिक समय तक शिक्षा के क्षेत्र काम किया। छात्रों और पेरेंट्स से संपर्क किया। इसके बाद एक ऐसा संगठन बनाने की आवश्यकता महसूस की जो न केवल छात्रों को उनके लक्ष्य की प्राप्ति में सही तरीके से मदद करे, बल्कि माता-पिता को इसके लिए जागरूक करे कि उनके बच्चे के लिए कौन सी प्रतियोगी परीक्षा बेहतर है। उददेश्य यही कि छात्र अपनी बुद्धिमता का परिचय देते हुए अपनी क्षमता के अनुरूप सही क्षेत्र का चयन कर सकें।
विकास महाजन और रामस्वरूप चौधरी का कहना है कि कि टीम विराज (वीआरएजेड) छात्रों के लिए एक ऐसा वातावरण बनाने का प्रयास करती है जो न केवल उनके समग्र विकास में मदद करता है, बल्कि उन्हें अपनी पूरी क्षमता हासिल करने के लिए प्रेरित भी करता है। महामारी के दौरान स्थापित इस संस्थान ने अपने विजन और कड़ी मेहनत की बदौलत उत्कृष्ट परिणाम दिया। यह एक ऐसा संगठन भी बन गया है। इसपर कई माता-पिता और छात्र भरोसा कर रहे हैं। दो वर्ष की छोटी सी अवधि में वीआरएजेड अकादमी आइआइटी-जेईई और नीट के लिए सर्वश्रेष्ठ संस्थानों में से एक के रूप में उभरा है। इसके साथ ही प्री-फाउंडेशन पाठ्यक्रमों पर भी ध्यान केंद्रित कर रहे हैं। विकास महाजन का मानना है कि प्री-फाउंडेशन कोर्स छात्रों के दिमाग का पोषण करता है और उन्हें विभिन्न ओलंपियाड और प्रतियोगी परीक्षाओं के बारे में एक स्पष्ट रास्ता भी दिखाता है। ताकि छात्र उस दिशा में खुद को साबित कर सकें।