बोकारो: कोविशिल्ड का डोज पड़ते ही खड़ा हो गया चार साल से बेड पर पड़ा यह दुलारचंद मुंडा, जुबान भी लौट आयी
रोड एक्सीडेंट के शिकार व्यक्ति इलाज में लाखों रुपये खर्च करने के बाद भी ठीक नहीं होने के कारण लगभग चार साल बिछावन पर अचेत पड़े व्यक्ति के शरीर में उर्जा दौड़ गई है। लगभग पांच साल बाद उसकी जुबान लौट गई है। वह पैर पर भी खड़ा होने लगा है।
- हादसे में लगभग चली गई थी आवाज
- कोरोना वैक्सीन लगते ही बोलने लगा शख्स
- शरीर में आई जान
बोकारो। रोड एक्सीडेंट के शिकार व्यक्ति इलाज में लाखों रुपये खर्च करने के बाद भी ठीक नहीं होने के कारण लगभग चार साल बिछावन पर अचेत पड़े व्यक्ति के शरीर में उर्जा दौड़ गई है। लगभग पांच साल बाद उसकी जुबान लौट गई है। वह पैर पर भी खड़ा होने लगा है।
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यह है मामला
मामला बोकारो जिले के पेटरवार ब्लॉकके उतासारा पंचायत के सलगाडीह गांव निवासी दुलारचंद मुंडा का है। शख्स के शरीर में अचानक इस परिवर्तन से न सिर्फ उसके परिवार और गांव वाले आश्चर्यचकित हैं बल्कि डॉक्टर भी हैरान हैं। यह सब कैसे हो गया ? सलगाडीह गांव के स्व.रोहन मुंडा का पुत्र दुलारचंद मुंडा (55 वर्ष) लगभग पांच वर्ष पूर्व एक सड़क दुर्घटना में गंभीर रूप से घायल हो गया था। इलाज होने के बाद वह ठीक तो हो गया ,लेकिन उसके शरीर का अंग काम करना बंद कर दिया था। इसके साथ उसकी आवाज भी लड़खड़ाने लगी थी। वह बिछावन पर लाचार पड़े हुए थे। बोल भी नहीं पा रहे थे। परिवार वाले इलाज के लिए बाहर ले गये, मगर कोई फायदा नहीं हुआ। इलाज के लिए घर की पुस्तैनी जमीन तक बिक गई। मगर दुलारचंद बिछावन से उठ नहीं पाये।
छह जनवरी को लगा कोरोना वैक्सीन का पहला डोज
दुलारचंद को छह जनवरी को कोरोना वैक्सीनकोविशील्ड का पहला डोज दिया गया। इसके बाद उनकी बोली लौट आई है। वह खड़े होने भी लगे हैं। हालांकि अभी चलने की स्थिति में नहीं हैं। इस बदलाव को परिजन कोरोना वैक्सीन को वरदान बता रहे हैं। इस संबंध में चिकित्सा प्रभारी डॉ अलबेल केरकेट्टा ने बताया कि आंगनबाड़ी केंद्र की सेविका की ओर से चार जनवरी को उसके घर मे जाकर वैक्सीन दिया गया था और पांच जनवरी से ही उसके बेजान शरीर ने हरकत करना शुरू कर दिया था। कहा कि उसे इस्पाइन का प्रॉब्लम था जिसका कई तरह का रिपोर्ट हमने देखा भी था। बहरहाल यह एक जांच का विषय बनता है।