झारखंड: हाई कोर्ट का आदेश, हाउसिंग बोर्ड के सेकरेटरी को सस्पेंड करें

झारखंड हाईकोर्ट ने हाउसिंग बोर्ड के सेकरेटरी जॉर्ज कुमार को सस्पेंड  करने का आदेश दिया है। कोर्ट ने कहा है कि झारखंड राज्य आवास बोर्ड में पदस्थापित सभी इंजीनियरों की संपति, उनके कार्यभार ग्रहण करने की तिथि से उनकी अर्जित की गई संपति की जांच की जाये। कोर्ट निर्देश दिया है कि उक्त अफसरों की संपति से संबंधित जांच रिपोर्ट छह सप्ताह में कोर्ट के समक्ष सीलबंद लिफाफे में प्रस्तुत की जाये।

झारखंड: हाई कोर्ट का आदेश, हाउसिंग बोर्ड के सेकरेटरी को सस्पेंड करें
  • रिलेटिव, फ्रेंड और सभी इंजीनियरों की संपति जांच करें
रांची। झारखंड हाईकोर्ट ने हाउसिंग बोर्ड के सेकरेटरी जॉर्ज कुमार को सस्पेंड  करने का आदेश दिया है। कोर्ट ने कहा है कि झारखंड राज्य आवास बोर्ड में पदस्थापित सभी इंजीनियरों की संपति, उनके कार्यभार ग्रहण करने की तिथि से उनकी अर्जित की गई संपति की जांच की जाये। कोर्ट निर्देश दिया है कि उक्त अफसरों की संपति से संबंधित जांच रिपोर्ट छह सप्ताह में कोर्ट के समक्ष सीलबंद लिफाफे में प्रस्तुत की जाये।
 
झारखंड हाईकोर्ट के जस्टिस जस्टिस केपी देव की कोर्ट ने बोर्ड की सेकरटेरी की कार्यशैली पर कड़ी नाराज़गी जाहिर की। कोर्ट ने उन्हें सस्पेंड करने का आदेश दिया है। हाईकोर्ट ने आवास बोर्ड के सेकरेटरी जॉर्ज कुमार के फैमिली मेंबर्स,रिलेटिव फ्रेंड के नाम से अर्जित की गई संपति की जांच का भी निर्देश एसीबी को दिया है। हाईकोर्ट ने एफिडेविट के माध्यम से यह जानकारी मांगी है कि आवास बोर्ड की संपति से कितने अतिक्रमण हटाये गये। अतिक्रमण हटाने में क्या-क्या बाधाएं आती हैं ?
झारखंड हाईकोर्ट हाउसिंग बोर्ड से जुड़े  डॉ शशि लाल और राजेंद्र राम के द्वारा दायर की गई एक याचिका पर सुनवाई कर रही थी। सुनवाई के दौरान कोर्ट ने बार-बार समय लेकर भी आवास बोर्ड की सम्पति पर हुए अतिक्रमण की जानकारी नहीं दिये जाने पर नाराजगी जताई।