मुंबई: मनसुख हिरेन मर्डर केस,पुलिस के सस्पेंडेड कांस्टेबल विनायक शिंदे और नरेश धरे सात अप्रैल तक NIA कस्टडी में
मुकेश अंबानी के घर एंटीलिया के बाहर जिलेटिन की छड़ों से भरी स्कॉर्पियो मनसुख हिरेन की मर्डर के मामले में कोर्ट ने मुंबई पुलिस के सस्पेंडड कांस्टेबल विनायक शिंदे और नरेश धरे को सात अप्रैल तक NIA कस्टडी बढ़ा दी है।
- एनआइए ने कोर्ट में कहा- मनसुख मर्डर केस के साजिशकर्ता के संपर्क में था सचिन वाझे
मुंबई। मुकेश अंबानी के घर एंटीलिया के बाहर जिलेटिन की छड़ों से भरी स्कॉर्पियो मनसुख हिरेन की मर्डर के मामले में कोर्ट ने मुंबई पुलिस के सस्पेंडड कांस्टेबल विनायक शिंदे और नरेश धरे को सात अप्रैल तक NIA कस्टडी बढ़ा दी है। महाराष्ट्र ATS ने दोनों को पिछले दिनों अरेस्ट किया था। मनसुख हिरेन की मौत के पीछे में इन दोनों का हाथ बताया जा रहा है।एनआइए ने कोर्ट में दावा किया है कि मनसुख हिरेन मर्डर का आरोपित सचिन वाझे इसके साजिशकर्ता से लगातार संपर्क में था। एनआइए ने कोर्ट में कहा है कि वह जल्द ही इस मर्डर की साजिश एवं उद्देश्य का पता लगा लेगी।
हिरेन की मर्डर की प्लानिंग में साथ-साथ थे वाझे एवं विनायक
कस्टडी हिरासत अवधि बढ़वाने के लिए जांच एजेंसी मंगलवार को एनआइए कोर्ट में गई थी। एनआइए का पक्ष रखते हुए वकील सुनील गोंजाल्विस ने कहा कि जब मनसुख हिरेन की मर्डर की प्लानिंग बनी तो सचिन वाझे एवं विनायक शिंदे साथ-साथ मौजूद थे। इस दौरान मुंबई पुलिस का सस्पेंडेड एपीआइ वाझे मोबाइल फोन के जरिये इस मामले के साजिशकर्ता के संपर्क में था।
एंटीलिया प्रकरण, मनसुख मर्डर केस में वाझे के अलावा भी कोई साजिशकर्ता
एनआइए द्वारा कोर्ट में दिये गये बयान से पता चलता है कि एंटीलिया प्रकरण एवं मनसुख मर्डर केस में सचिन वाझे के अलावा भी कोई साजिशकर्ता है। उसके संपर्क में सचिन वाझे लगातार बना हुआ था। गोंजाल्विस ने कोर्ट को बताया कि जांच एजेंसी को हाल ही में कुछ डीवीआर, सीपीयू एवं लैपटाप मिले हैं। इसके अलावा कुछ सिमकार्ड की एक लिस्ट भी बरामद हुई है। इन सामग्रियों के बारे में विनायक शिंदे एवं सचिन वाझे से पूछताछ की जानी है। इसलिए शिंदे की कस्टडी अवधि बढ़ाई जानी चाहिए। स्पेशल एनआइए कोर्ट के जज पीआर सितरे ने वकील के तर्को से सहमत होते हुए विनायक शिंदे की क्सटडी अवधि सात अप्रैल तक बढ़ा दी।
शिंदे की भूमिका सिर्फ वाझे को सिम कार्ड उपलब्ध कराने तक ही
विनायक शिंदे के वकील गौतम जैन ने उसकी एनआइए हिरासत का विरोध करते हुए कहा कि उसे नौ दिन तक पहले ही कस्टडी में रखा जा चुका है। इसलिए उसे अब और एनआइए की कस्टडी में नहीं देना चाहिए।गौतम जैन के अनुसार विनायक शिंदे की भूमिका सिर्फ वाझे को सिम कार्ड उपलब्ध कराने तक ही सीमित थी। इसी प्रकार अहमदाबाद के क्रिकेट बुकी नरेश गोर के वकील ने भी गोर की भूमिका सिर्फ सिम कार्ड उपलब्ध कराने तक ही बताते हुए कहा कि उसे मर्डर की प्लानिंग के बारे में कोई जानकारी नहीं थी।
जिलेटिन लदी स्कार्पियो बरामदगी व मनसुख मर्डर केस की जांच कर रही है NIA
एनआइए मनसुख मर्डर केस एवं मुकेश अंबानी के घर समीप मिले विस्फोटक लदी स्कार्पियोमामलों की जांच कर रही है। जांच एजेंसी कोर्ट को बता चुकी है कि ये दोनों मामले एक-दूसरे से जुड़े हुए हैं।
सचिन वाझे की एक और लक्जरी कार बरामद
एनआइए ने मंगलवार को नवी मुंबई से सचिन वाझे की एक और लक्जरी कार बरामद की। इस कार का उपयोग वाझे का एक सहयोगी कर रहा था। इसके अलावा दो दिन पहले मुंबई की मीठी नदी से मिलीं दो नंबर प्लेटों का मामला भी गहरा गया है। इनमें से एक नंबर प्लेट औरंगाबाद से पिछले साल चोरी हो गई थी। इसके मालिक विजय नाडे ने वर्ष 2020 की 17 नवंबर को इस कार की चोरी की रिपोर्ट दर्ज करायी थी। एनआइए ने मीठी नदी में रविवार को गोताखोरों को उतारकर सचिन वाझे द्वारा फेकवाये गये सामान निकलवाये तो उसमें एक नंबर प्लेट ऐसी भी मिली, जो विजय नाडे की कार की थी। नाडे का कहना है कि अभी तक किसी जांच एजेंसी ने उनसे संपर्क नहीं किया है। लेकिन जहां आवश्यकता होगी, वह एजेंसी को सहयोग करेंगे।