झारखंड के CM हेमंत सोरेन ने लांच की नई पर्यटन नीति, कहा- जंगलों में गोलियों नहीं गूंजेंगे पर्यटकों के ठहाके
झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन ने शनिवार को नई दिल्ली में स्टेट की नई पर्यटन नीति लांच की। खनिज संपदा के लिहाज से समृद्ध झारखंड अब पर्यटन के क्षेत्र में भी विकास के नये द्वार खोलेगा। मौके पर सीएम कहा कि प्रदेश में अब लॉ एंड ऑर्डर और नक्सलवाद की कोई समस्या नहीं है। नक्सलवाद लगभग समाप्त हो चुका है। अब यहां के जंगलों में अब गोलियों की आवाज नहीं बल्कि अब पर्यटकों के ठहाके गूंजेंगे।
- स्टेट में पर्यटकों को घुमाने के लिए विशेष पैकेज तैयार होंगे
- झारखंड को Extraction नहीं Attraction की नजर से देखे दुनिया
नई दिल्ली। झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन ने शनिवार को नई दिल्ली में स्टेट की नई पर्यटन नीति लांच की। खनिज संपदा के लिहाज से समृद्ध झारखंड अब पर्यटन के क्षेत्र में भी विकास के नये द्वार खोलेगा। मौके पर सीएम कहा कि प्रदेश में अब लॉ एंड ऑर्डर और नक्सलवाद की कोई समस्या नहीं है। नक्सलवाद लगभग समाप्त हो चुका है। अब यहां के जंगलों में अब गोलियों की आवाज नहीं बल्कि अब पर्यटकों के ठहाके गूंजेंगे।
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Hon’ble Chief Minister of Jharkhand Shri @HemantSorenJMM launched the Jharkhand Tourism Policy 2021 at an event in Delhi today.@VisitJharkhand @ficci_india pic.twitter.com/UVakN682rs
— Office of Chief Minister, Jharkhand (@JharkhandCMO) July 23, 2022
लांचिंग कार्यक्रम में सीएम ने कहा हमारे टूरिज्म पॉलिसी में कई प्रकार के फायदे की बातें हैं। टूरिज्म सेक्टर में निवेश करने वाले सभी निवेशकों से आग्रह होगा कि आप झारखंड आयें. पहले आओ और पहले पाओ के आधार पर आने पर हम स्पेशल पैकेज देंगे। पॉलिसी में माइंस टूरिज्म के जोड़े गये नये अध्याय से पर्यटकों को लुभाने में मदद मिलेगी।
स्टेट को Extraction नहीं Attraction की नजर से देखे
सीएम कहा कि झारखंड को हमेशा Extraction के नजरिये से देखा गया है। अब झारखंड को Attractions के नजरिये से दुनिया देखे, यही हमारा लक्ष्य है।यहां के जल, जंगल, पहाड़, झरने, नदियों में पर्यटन के दृष्टिकोण से असीम संभावनाएं हैं। आप देखेंगे राज्य का नया टूरिज्म पॉलिसी उसी लक्ष्य को प्रतिबिम्बित करता है।उन्होंने कहा इंटरनेशनल रिसर्च बताते हैं झारखंड का सिंहभूम वो जगह है, जो समुद्र से पहली बार बाहर निकला था. राज्य में आपको जीवाश्म और मेगालिथ देखने को मिलेंगे. जल-प्रपातों की श्रृंखलाएं भी हमारे राज्य में हैं। झारखंड के हर एक कोने में आपको प्राकृतिक सुंदरता देखने को मिलेगी। हमारे देश में पर्यटक लाखों रुपये खर्च करके पहाड़ों की मनोरम वादियां देखने जाते हैं। मैं दावे के साथ कह सकता हूं कि आप अगर हमारे प्रदेश के पहाड़ी पर्यटन स्थल नेतरहाट में आयेंगे तो मनोरम वादियां एवं मनमोहक दृश्यों को देखकर आप मंत्रमुग्ध रह जायेंगे।
टूरिस्ट सिक्योरिटी फोर्स का होगा गठन
सीएम ने कहा कि स्टेट में पर्यटकों कि सुरक्षा के लिए हम टूरिस्ट सिक्योरिटी फोर्स के गठन पर भी कार्य कर रहे हैं। अब वो दिन दूर नहीं जब प्रदेश की मनोरम वादियों में गोलियों की आवाज़ नहीं सिर्फ़ पर्यटकों के ठहाके सुनायी देंगे। देश में आज़ादी के पहले से ही हमारे झारखंड प्रदेश में खनिज का उत्खनन होता रहा है। इसलिए झारखंड को आम तौर पर खनिज प्रदेश कहा जाता हैं। नयी टूरिज्म पॉलिसी प्रदेश में निवेशकों को निवेश की एक नयी दृष्टि प्रदान करेगी।हेमंत सोरेन ने कहा कि जो उद्यमी राज्य में पर्यटन से जुड़े क्षेत्र में निवेश करेंगे, उन्हें प्रोत्साहन पैकेज के तहत सारी सुविधाएं दी जायेगी। जिसमें दस करोड़ तक के निवेश पर 20 से 25 प्रतिशत की सब्सिडी दी जायेगी। अगले पांच साल तक चुकाई जाने वाली जीएसटी की 75 प्रतिशत राशि की भरपाई की जायेगी। इसके अलावा पांच सालों तक कोई भी होल्डिंग टैक्स नहीं देना होगा, बिजली बिल और स्टाम्प टैक्स में राहत देने जैसी कई पहल शामिल है। इस दौरान राज्य के इंफ्रास्ट्रक्चर को और मजबूती दी जायेगी।
झारखंड के पिछड़ेपन पर चिंता
सीएम ने इस मौके पर प्रदेश के पिछड़ेपन पर चिंता जताई और कहा कि झारखंड खनिज संपदा के मामले में भले ही समृद्ध है, लेकिन यहां लोगों अभी काफी पिछड़े हुए है। जबकि यहां खनिज संपदा से देश के कई राज्य रोशन हो रहे है। इस मामले में विचार करने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के लोग काफी क्षमतावान है। राज्य अब इन्हें कौशल विकास से जोड़ने में जुटी है।
मौके पर राज्य के अपर मुख्य सचिव अरुण कुमार सिंह और पर्यटन सचिव अमिताभ कौशल ने राज्य की नई पर्यटन नीति से जुड़े अहम पहलुओं को सामने रखा। बताया कि राज्य में इको टूरिज्म और माइंस टूरिज्म के साथ धार्मिक पर्यटन, एडवेंचर टूरिज्म की काफी संभावनाएं है। इस पहल से राज्य का पिछड़ापन भी समाप्त होगा। कार्यक्रम में पर्यटन क्षेत्र से जुड़े कारोबारी और फिक्की के पदाधिकारी मौजूद थे।