झारखंड: हेमंत गवर्नमेंट गिराने की साजिश में महाराष्ट्र दो बीजेपी लीडर का नाम आया, तीन एमएलए से हुई थी एक करोड़ की डील

झारखंड में हेमंत सोरेन की गवर्नमेंट गिराने की साजिश में अरेस्ट किये गये आरोपियों ने पुलिस पूछताछ में बताया है कि साजिश में झारखंड के तीन एमएलए, दो कथित पत्रकार व बिचौलिए शामिल थे।दिल्ली में तीनों  एमएलए से लेनदेन की डील भी हुई थी। एक करोड़ एडवांस का वादा भी किया गया था, नहीं देने पर एमएलए रांची लौट गये थे।

झारखंड: हेमंत गवर्नमेंट गिराने की साजिश में महाराष्ट्र दो बीजेपी लीडर का नाम आया, तीन एमएलए से हुई थी एक करोड़ की डील
  • पुलिस पूछताछ में आरोपियों ने किया खुलासा

रांची। झारखंड में हेमंत सोरेन की गवर्नमेंट गिराने की साजिश में अरेस्ट किये गये आरोपियों ने पुलिस पूछताछ में बताया है कि साजिश में झारखंड के तीन एमएलए, दो कथित पत्रकार व बिचौलिए शामिल थे।दिल्ली में तीनों  एमएलए से लेनदेन की डील भी हुई थी। एक करोड़ एडवांस का वादा भी किया गया था, नहीं देने पर एमएलए रांची लौट गये थे।

दिल्ली में BJP के बड़े नेताओं से कांग्रेस एमएलए की मुलाकात,महाराष्ट्र से रची जा रही झारखंड की सरकार गिराने की साजिश
हेमंत सोरेन सरकार को गिराने में महाराष्ट्रा बीजेपी के दो लीडर भी शामिल हैं। झारखंड की सरकार को अस्थिर करने के आरोप में गिरफ्तार हुए अभिषेक कुमार दुबे ने पुलिस के समक्ष यह बयान दिया है। अभिषेक ने महाराष्ट्र भाजपा के दो नेता चंद्रशेखर राव बावनकुले और चरण सिंह का नाम लिया है। उसने बताया कि दोनों षडयंत्र में शामिल थे। बावनकुले बीजेपी के एमएलए हैं। झारखंड में सरकार को गिराने के आरोप में गिरफ्तार तीन आरोपितों ने पुलिस को बयान दिया है कि वे महाराष्ट्रा के नेताओं के इशारे पर काम कर रहे थे। 

आरोपियों ने पुलिस पूछताछ में बताया है कि डील में महाराष्ट्र के दो नेता चंद्रशेखर राव बावनकुले और चरण सिंह शामिल थे। अरेस्ट कर जेल भेजे गये अभिषेक , अमित व निवारण ने दोनों को महाराष्ट्र का बीजेपी एमएलए बताया था लेकिन वहां के एमएलए की लिस्ट में इनका नाम नहीं है। अभिषेक ने पुलिस को बताया कि इसी मामले में अमित ने 15 जुलाई को इंडिगो का टिकट भेजा था। महाराष्ट्र के एक लीडर जयकुमार वानखेड़े ने इसकी बुकिंग कर अमित सिंह को भेजा था। अभिषेक ने बताया है कि 15 जुलाई को दिल्ली पहुंचने पर वहां एयरपोर्ट पर दो एसयूवी लगी हुई थी। एक से तीनों लोकल एमएलए होटल में गये। बाकी तीनों को जयकुमार का गार्ड अभिषेक दूबे लेकर होटल पहुंचा। यहां चंद्रशेखर राव बावनकुले और चरण सिंह पहुंचे। वे यहां से तीनों एमएलए को लेकर एक गाड़ी में, जबकि अन्य लोग दूसरी गाड़ी से कई बड़े नेताओं के आवास पर गये। यहां लगभग पंद्रह मिनट की मुलाकात के बाद राज्य के तीनों एमएलए झारखंड भवन लौट आये।

एक करोड़ एडवांस नहीं मिलने पर एमएलए नाराज होकर लौटे
आरोपियों के अनुसार, दिल्ली से लौटने के बाद भी जयप्रकाश वानखड़े लगातार एमएलए व उनसे संपर्क में रहे। 21 जुलाई को वानखड़े अपने साथ मोहित भारतीय को लाए। इसके बाद होटल ली लैक से बारी बारी से कई लोकल एमएलए से संपर्क किया। जयकुमार, मोहित के अलावा अलग अलग कमरों में आशुतोष ठक्कर और अमित कुमार यादव नाम के व्यक्ति भी थे। होटल का कमरा 407, 307, 310, 611 बुक था। रांची में दो पत्रकार कुंदन सिंह और संतोष कुमार द्वारा भी दो अलग अलग एमएलए से संपर्क की बात सामने आयी है। अभिषेक ने स्वीकार किया है कि सदन में वोटिंग कराकर सरकार को गिराने की साजिश रची गई थी।

कांग्रेस एमएलए विल्सन संग का आरोपी के साथ फोटो वायरल
पुलिस द्वारा गिरफ्तार किये गये तीन आरोपियों में से एक अमित सिंह के साथ कांग्रेस एमएलए विक्सल कोंगाड़ी की फोटो वायरल हुई है।  हालांकि विक्सल ने अमित से किसी परिचय को खारिज किया।उन्होंने दावा किया कि उन्हें भी मंत्री पद का ऑफर था। इसकी जानकारी उन्होंने सीएम,पार्टी के प्रदेश प्रभारी व प्रदेश अध्यक्ष को दी थी। नमन विक्सल कोंगाड़ी ने कहा कि उन्हें भी सरकार गिराने के लिए 50 करोड़ रुपये व मंत्री पद का प्रलोभन दिया गया था। उनसे मिलने आए लोगों का कहना था कि 11 एमएलए का जुगाड़ हो गया है। बस 12वां एमएलए की जरूरत है। नमन ने इसे अस्वीकार करते हुए इसकी सूचना कांग्रेस के प्रभारी आरपीएन सिंह व सीएम हेमंत सोरेन को भी दी थी।

कुछ लोग बड़ी रकम लेकर पहुंचे थे उनके पास 
नमन ने कहा कि एक बार तो कुछ लोग बड़ी रकम लेकर उनके पास भी पहुंचे थे। पर, उन्होंने डांट-फटकार लगाकर उन्हेंस भगा दिया था। उनसे मिलने वाले लोग कभी खुद को टाटा तो कभी अडानी के आदमी बताते थे।कई बार लोग क्षेत्र में बड़े प्रोजेक्ट लगाकर काम करने की बात कहकर उनसे मिलने आते थे। पर हर बार उन्हें मुंह की खानी पड़ी। एमएलए कोंगाडी ने कहा कि वे 1998 से पार्टी में सच्चे निष्ठावान सिपाही की तरह कार्य करते आ रहे हैं। पार्टी में कई पदों पर वे निष्ठा से कार्य करते हुए जनता के लिए कार्य करते रहे हैं। जनता ने भी जिले की दोनों सीटें कांग्रेस की झोली में डालकर विश्वास जताया है। ऐसे में वे जनता के विश्वास को कभी नहीं तोड़ेंगे।एमएलए ने कहा कि फोटो बहुत पुराना है। उन्होंने कहा कि फोटो जनवरी की है, जब विधानसभा की तरफ से वे टूर में थे। उसी दौरे के दौरान वे धनबाद के गेस्ट हाउस में रुके थे। उसी समय कुछ कार्यकर्ता वहां पहुंचे और उनके साथ फोटो खिंचवाए। यह फोटो उसी समय की है। 

इरफान अंसारी ने खुद को बताया CM हेमंत सोरेन का हनुमान, बोले- मुझे बदनाम करने की साजिश
कांग्रेस के जामताड़ा एमएलए डॉ. इरफान अंसारी ने कहा है कि मैं हेमंत सोरेन का हनुमान हूं और उन पर आंच को बर्दाश्त नहीं करूंगा। एमएलए की खरीद-बिक्री में अपना नाम सामने आने के मुद्दे पर कहा कि पूरे प्रकरण का खुलासा होना चाहिए। उन्होंने पुलिस की कार्रवाई का स्वागत करते हुए मांग की कि इस प्रकरण का जल्द खुलासा हो और जो लोग इस काम में लगे थे, उनका खुलासा होना चाहिए। 
उन्होंने आशंका जाहिर की कि इसके पीछे शराब माफिया का खेल हो सकता है। कुछ समाचार माध्यमों से ज्ञात हुआ है कि मेरी भूमिका को लेकर भ्रम फैलाने की साजिश की जा रही है। ऐसे लोग नहीं चाहते कि राज्य में आदिवासी, अल्पसंख्यक, दलितों और पिछड़ों के हित में काम करने वाली सरकार चले। इरफान ने कहा कि वे भ्रम फैलाने संबंधी कार्रवाई से अत्यंत आहत और क्रोधित हैं। पिता के इलाज के लिए दिल्ली जाने का कार्यक्रम बना और इसे राजनीतिक हथियार बनाने वाले लोगों को शर्म आनी चाहिए। उन्होंने कहा कि Mla अमित यादव की पत्नी का इलाज कराने के लिए साथ चले जाना मेरी बहुत बड़ी भूल हो गई। मैं ऐसे तत्वों को खुली चुनौती देता हूं।
इरफान ने कहा कि षडयंत्र के तहत साजिश करने वालों को मैं बेनकाब करूंगा। जो लोग मुझ पर मनगढ़ंत आरोप लगाने की कोशिश कर रहे हैं, वे औंधे मुंह गिरेंगे और जनता उन्हें कभी माफ नहीं करेगी। कांग्रेस के साथ हमारी निष्ठा पर सवाल खड़ा करने वालों को जामताड़ा और राज्य की जनता मुंहतोड़ जवाब देगी। हेमंत सोरेन की सरकार को अस्थिर करने वाले अपने मंसूबे में कभी कामयाब नहीं होंगे। ऐसे लोगों का सपना चकनाचूर हो जायेगा। 

केस में सेक्शन लगाने से लेकर आईओ बनाने में गलती
रांची पुलिस की ओर से दर्ज एफआईआर से लेकर सेक्शन लगाने में भी गड़बड़ियां सामने आई हैं। एफआईआर में राजद्रोह का जिक्र किया गया है लेकिन इसकी सेक्शन नहीं लगाई गई है। इसी तरह पीसी एक्ट के तहत दर्ज मामलों में आईओ डीएसपी लेवल होते है लेकिन ट्रेनी एसआइ को आईओ बना दिया गया है।